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कितने प्रकार के होते हैं सूर्यग्रहण ?

धर्मे :=दरअसल देखा जाय तो अधिकतर लोगो को यह नहीं पता है की सूर्य ग्रहण कितने प्रकार के है अगर इस बारे में उनसे बात की जाय तो उनका सवाल एक प्रकार का ही मिलेगा लेकिन  सूर्यग्रहण तीन तरह के होते हैं। पहला पूर्ण सूर्यग्रहण, दूसरा आंशिक सूर्यग्रहण और तीसरा वलयाकार सूर्यग्रहण।

@# पूर्ण सूर्यग्रहण के दौरान चाँद सूरज को पूरी से ढँक लेता है। ऐसे में चमकते सूरज की जगह एक काली तश्तरी-सी दिखाई है। इसमें सबसे खूबसूरत दिखती है ‘डायमंड रिंग।’ चाँद के सूरज को पूरी तरह से ढँकने को पूर्ण सूर्य ग्रहण कहते है .

@# आंशिक सूर्यग्रहण तब होता है जब सूरज और चाँद एक सीधी लाइन में नहीं होते है और चाँद सूरज के एक हिस्से को ही ढँक पाता है। जिसे धरती पर बड़े आसानी से  देखा जा सकता है। उसे आंशिक सूर्यग्रहण कहते है .  

@# वलयाकार सूर्यग्रहण में चांद पृथ्वी से काफी दूर रहने के बावजूद पृथ्वी और सूर्य के बीच में आ जाता है। लेकिन चाँद सूरज को ढँक नहीं पाता  ऐसी हालत में सूरज एक बड़े छल्ले की तरह दिखाई देता है, जिसके केन्द्र में चाँद की काली बाहरी सतह दिखाई देती है। जानकारों का कहा कि पूर्ण सूर्यग्रहण के समय आस-पास के क्षेत्र में जितना अंधेरा छा जाता है उतना वलयाकार ग्रहण के दौरान नहीं होता। फिर भी यह अपने-आप में बेहद रोचक खगोलीय घटना है और वैज्ञानिक इस घटना का भी अध्ययन करते हैं। इसे वलयाकार सूर्यग्रहण कहा जाता है .

आगे भी पढ़े :=सूर्य ग्रहण का क्या है धार्मिक महत्व .

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