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डिजिटल एप्प से हवाई यात्रा होगी सुरक्षित एवं सुगम : जयंत सिन्हा

नई दिल्ली, 24 नवंबर (हि.स.)। इंटरनेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ़ सिक्योरिटी एण्ड सेफ़्टी मैनेजमेंट (आइआइएसएसएम) के 27 वें वैश्विक सम्मेलन के दूसरे दिन के तृतीय सत्र में केंद्रीय नागर विमानन राज्यमंत्री जयंत सिन्हा शामिल हुए। जयंत ने यहां विस्तृत रूप से नागर विमानन मंत्रालय द्वारा तैयार किए जा रहे ‘यात्री सुरक्षा एप्प’ की जानकारी दी। 

नागर विमानन मंत्री जयंत सिन्हा ने डिजिटली यात्रा के बारे में बताते हुए कहा कि डिजिटलाइजेशन की दिशा में उड्डयन मंत्रालय तेजी से कार्य कर रहा है। इसमें आम जनता के सुझावों से आगे बढ़ा जा रहा है। डीजी यात्रा के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि आज मोबाइल के माध्यम से हम लोग तय कर लेते है कि मुझे यहां से वहां जाना हैं। टिकट बुक करते ही एयरलाइंस की तरफ से उस टिकट का पीएनआर नंबर जारी होता है। हमलोग प्रयास कर रहे हैं कि वो पीएनआर नंबर के जरिए हम यात्री को ट्रैक करेंगे और यात्रा को सुविधाजनक बनाएंगे। 

जयंत सिन्हा ने कहा, ‘आगामी समय में हवाई यात्रियों को टिकट बुकिंग के समय आधार, पैन या पासपोर्ट संख्या जैसी डिजिटल पहचान जानकारियां साझा करना अनिवार्य किया जाएगा। इसका प्रमुख कारण हवाईअड्डों पर यात्रा को कागज रहित और सुगम बनाना है। 

जयंत सिन्हा ने कहा, ‘विशिष्ट पहचान सुनिश्चित करने के लिए बहुत से रास्ते हैं। स्पष्ट तौर पर इसके लिए आधार संख्या के माध्यम से पहचान सबसे उचित तरीका है| अन्य तरीकों में पैन कार्ड या पासपोर्ट शामिल हैं। इस विकल्प को अपनाने वाले यात्रियों को कागज रहित और बाधा रहित यात्रा का ‘फायदा’ होगा।’ सिन्हा ने कहा कि विशिष्ट पहचान पुष्टि (आधार) के साथ टिकट बुक करने वाले यात्रियों की डिजिटल जानकारी और पीएनआर उनके डिजिटल बोर्डिंग पास की तरह कार्य करेगा। जो आधार के जरिए टिकट बुक करेंगे उन्हें हवाई अड्डों पर सिर्फ आंखों या उंगली का स्कैन करवाना होगा और जो लोग आधार के अलावा अन्य वैकल्पिक दस्तावेज उपलब्ध कराएंगे उन्हें उनके मोबाइल पर एक क्यूआर कोड भेजा जाएगा जो हवाई अड्डों पर स्कैन किया जाएगा। हालांकि, जयंत ने बताया कि यात्रियों के पास डिजिटल प्रणाली के अलावा भी बोर्डिंग पास का अन्य विकल्प जारी रहेगा लेकिन वह सुगम यात्रा का लाभ उठाने से वंचित रह जाएंगे। जयंत ने बताया कि आज देश में हवाई अड्डों का बड़े स्तर पर विस्तार हो रहा है। करीब 200 से ज्यादा नए हवाई अड्डे संचालित किए जाएंगे। केंद्र सरकार हवाई सेवाओं का बड़े स्तर पर विस्तार कर रही है। इसमें हमें सुरक्षा का भी पूरा ख्याल रखना पड़ेगा। आधार लिंक होने से सुरक्षा के साथ यात्रा के समय में भी कमी आएगी। 

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