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UP में BJP को जीत दिलाने वाले ‘रियल हीरो’ बंसल ! पर्दे के पीछे रहकर किया काम.

नई दिल्ली(12 मार्च): बीजेपी ने उत्तर प्रदेश में 16 साल बाद पूर्ण बहुमत हासिल किया है। साथ ही UP राज्य के विभाजन के बाद 300 सीट हासिल करने वाली पहली पार्टी बनी है । इस ऐतिहासिक जीत का श्रेय पीएम मोदी और बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह को दिया जा रहा है। लेकिन इस जीत के पीछे एक और शख्स है जो पर्दे के पीछे रहकर बीजेपी को जीताने में ‘रियल हीरो’ का काम किया और पार्टी को इस मंजिल तक पहुंचाया। इस शख्स का नाम है सुनील बंसल।

राजस्थान में जन्मे सुनील एबीवीपी के धुरंधर नेताओं में से एक हैं।वह दिल्ली के रफी मार्ग पर स्थित कॉन्टिटयूशन क्लब में दो रूम सेट में रहते है .यहाँ तक कि उनके घर के बाहर किसी भी प्रकार के नेम की पाटिया भी नहीं लगी है जैसा कि अक्सर बड़े –बड़े नेतावो के घर के बाहर देखा जाता है ,

जानकर बताते है कि सुनील बंसल ने ही अमित शाह और बीजेपी की जीत की स्क्रिप्ट लिखी थी औरUP में बीजेपी को जीत दिलाने में अहम रोल निभाया है । सुनील ही वो शख्स हैं, जिन्होंने UP चुनाव में अमित शाह की तरकश के सभी तीर को सफल तरीके से टारगेट तक पहुंचाया।

 इसके पहले भी उन्होंने यूपी लोकसभा इलेक्शन में अमित शाह के डिप्टी के रूप में काम किया था। बंसल को अमित शाह का दायां हाथ भी कहा जाता है। उन्ही के सूझ बुझ के कारण लोकसभा इलेक्शन में पार्टी को बहुमत मिली थी।

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 हालांकि 2015 में बिहार चुनाव में उनका अनुभव कुछ ज्यादा अच्छा नहीं रहा था।लेकिन बिहार चुनाव से सीख लेते हुए सुनील ही वो शख्स हैं, जिन्होंने अमित शाह की तरकश के सभी तीर को सफल तरीके से टारगेट तक पहुंचाया।

यूपी में बीजेपी ने सुनील बंसल के सुझाव के रास्ते पर चलकर समाजवादी के वोटबैंक यादव को छोड़कर बाकी की ओबीसी जातियों को अपने पक्ष में लाने की सबसे पहले कोशिश की। जिनका यूपी में सबसे अधिक वोट बेस 30% है।  इसके अलावा बीजेपी ने अति पिछड़े वर्ग को अपने साथ लाने की कोशिश की,जो कि सामान्यतः बीएसपी का वोटबैंक मानी जाती है।

इसमें एक और वजह रहीं छोटी-छोटी पार्टियां- सुखदेव भारतीय समाज पार्टी और अपना दल, जिन्होंने सपा और बीएसपी के सबसे अधिक वोट काटे। पिछड़ी और अति पिछड़ी जातियों को अपनी ओर मोड़ने में कामयाब होने के बाद बीजेपी के सामने सबसे बड़ी समस्या थी टिकट बांटना। आखिर किसे दिया जाए? यहां भी बंसल का तजुर्बा ही काम आया। उनके पैनल ने अधिकतर कैंडिडेट्स के नाम तय कर दिए।साथ ही अमित शाह और सुनील बंसल का बीजेपी के बड़े नेताओं के बेटे और बेटियों को टिकट देने का निर्णय भी सही साबित हुआ।

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