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देशवासियों के धैर्य से चला शुद्धि यज्ञ ,देशवासियों ने मुझे चिट्ठियां लिखीं और अपना दर्द साझा किया: पीएम मोदी

नई दिल्ली, 31 दिसम्बर = प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नोटबंदी के 50 दिन पूरे होने के बाद शनिवार को इस साल के आखिरी दिन देशवासियों को सम्बोधित किया। अपने सम्बोधन में पीएम ने कहा कि यह शुद्धि यज्ञ देशवासियों के धैर्य से ही चला। देशवासी घुटन से मुक्ति की तलाश में थे। मुसीबत की घड़ी में देशवासियों ने धैर्य से काम किया।
उन्होंने कहा कि कालेधन, भ्रष्टाचार को घुटने टेकने पर ईमानदार देशवासियों ने मजबूर किया। देशवासी अपने घर की विकृतियों और बुराइयों के खिलाफ लड़ने के लिए तैयार हुए। सच्चाई और अच्छाई हमारे देश के लोगों के लिए बहुत महत्व रखती है।‘कुछ बात है कि हस्ती मिटती नहीं हमारी’- देशवासियों ने इसे जीकर दिखाया है।

पीएम ने कहा कि अच्छाई के लिए होने वाले आंदोलनों में सरकार और जनता आमने सामने होती हैं, लेकिन इस आंदोलन में सरकार और जनता दोनों कंधे से कंधा मिलाकर लड़ाई लड़ रहे हैं। बीते दिनों अपना ही पैसा निकालने के लिए आप लोगों को घंटों लाइन में लगना पड़ा औऱ परेशानी उठानी पड़ी। भ्रष्टाचार और जाली नोटों के खिलाफ लड़ाई में आप साथ है। सरकार ने संबंधित लोगों से बैंकिंग व्यवस्था को सामान्य करने के लिए कहा है।

देशवासियों ने मुझे चिट्ठियां लिखीं और अपना दर्द साझा किया

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प्रधानमंत्री ने कहा कि बहुत से देशवासियों ने मुझे चिट्ठियां लिखीं और अपना दर्द साझा किया। बीते कुछ सालों में 500 और एक हजार के नोट महंगाई और कालाबाजारी बढ़ा रहे थे। देशवासियों ने जो कष्ट झेला है वह भारत के भविष्य की मिसाल है। दिवाली के बाद की घटनाओं से यह सिद्ध हो चुका है कि लोग करप्शन के घुटन से मुक्त होना चाहते हैं।

पीएम ने कहा कि बड़े नोट गरीबों का हक छीन रहे थे। सरकार को मिली जानकारी के मुताबिक देश नें सिर्फ 24 लाख लोग मानते हैं कि उनकी आय 10 लाख रुपये से ज्यादा है। चर्चा स्वाभाविक है कि अब बेईमानों का क्या होगा? ऐसे में कानून अपना काम करेगा। सरकार की प्राथमिकता है कि ईमानदारों को संरक्षण कैसे मिले। नागरिकों से ज्यादा जिम्मेदारी अफसरों की है। यह सरकार सज्जनों की मित्र है और दुर्जनों को सही रास्ते पर लाने के लिए मार्ग प्रशस्त करने में लगी है। कालाधन समाज और सरकार के लिए नासूर बन गए हैं। बीते दिनों की घटनाओं ने यह साफ किया है कि चालाकी के रास्ते आगे बंद हो चुके हैं।

नोटबंदी के दौरान बैंक कर्मचारी, पोस्ट ऑफिस कर्मियों ने बहुत सराहनीय काम किया है

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पीएम मोदी ने कहा कि नोटबंदी के दौरान बैंक कर्मचारी, पोस्ट ऑफिस कर्मियों ने बहुत सराहनीय काम किया है। जिन बैंक कर्मचारियों ने नोटबंदी के दौरान गड़बड़ी की है उन्हें बख्शा नहीं जाएगा। बैंकों से आग्रह है कि वे अपनी परंपरागत प्राथमिकताओं से बाहर आकर गरीब और निम्न मध्यम वर्ग के लोगों को ध्यान नें रखकर कामकाज करें। किसी देश के लिए शुभ संकेत है कि उसके नागरिक कानून का पालन करते हुए मुख्य धारा में वापस आ रहे हैं। काल के कपाल पर अंकित हो चुका है कि जनशक्ति का मतलब क्या होता है।

पीेएम ने कहा कि हिंसा का रास्ता छोड़ नौजवान मुख्यधारा में लौट रहे हैं। आजादी के सालों बाद भी लोगों के पास घर नहीं है। शहरों में घऱ बनाने पर 9 लाख के कर्ज पर ब्याज में 4% और 12 लाख पर 3% की छूट मिलेगी। अब प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत शहरों में इस वर्ग को नए घर देने के लिए दो नई स्कीमें बनाई गई हैं।

उन्होंने कहा कि पिछले साल की तुलना में इस वर्ष रबी की बुवाई 6 प्रतिशत ज्यादा हुई है। फर्टिलाइजर भी 9 प्रतिशत ज्यादा उठाया गया है। अगले तीन महीने में 3 करोड़ किसान क्रेडिट कार्डों को रुपे कार्ड में बदला जाएगा। आदतन बेईमान लोगों को भी अब टेक्नोलॉजी की ताकत के कारण, काले कारोबार से निकलकर कानून-नियम का पालन करते हुए मुख्यधारा में आना होगा। सरकार किसानों काे 60 दिनों का कर्ज देगी। छोटे व्यापारियों की क्रेडिट गारंटी बढ़ाकर सरकार ने एक करोड़ से दो करोड़ रुपये की है।

आगे पढ़े पीएम ने  गरीब, बुजुर्ग और महिलाओं को नए साल का दिया तोहफा,कहा  बेईंमानों पर चलेगा चाबुक.…………….

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