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राष्ट्रपति अभिभाषण: ‘एक साथ लोकसभा-विधानसभा चुनाव’ कराने पर जोर

नई दिल्ली, 29 जनवरी (हि.स.)। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के अभिभाषण के साथ ही बजट सत्र की शुरुआत हो गई है। राष्ट्रपति ने संबोधन में सरकार की उपलब्धियों और उनके एजेंडे को सभी के सामने रखा। साथ ही राष्ट्रपति ने एक साथ लोकसभा-विधानसभा चुनाव करवाने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि बार-बार चुनाव होने से विकास पर असर पड़ता है।

बजट सत्र को संबोधित करते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि उनकी सरकार सामाजिक और आर्थिक परिस्थिति को मजबूत करने का काम कर रही है। राष्ट्रपति ने कहा कि शौचालयों को बनाकर सरकार लोगों की सहायता कर रही है। ऐसे में 2019 तक स्वच्छ भारत बनाकर महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि देने के लिए भी सरकार तत्पर है।

राष्ट्रपति ने कहा कि सरकार ने संसद में तीन तलाक बिल पेश किया, जल्द ही इसे कानून भी बनाया जाएगा। देश में बेटी बचाओ – बेटी पढ़ाओ का दायरा बढ़ा है। वर्तमान में 640 जिलों में बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ की योजना चल रही है। साथ ही राष्ट्रपति ने कहा कि तुष्टिकरण नहीं सशक्तिकरण के तहत अल्पसंख्यकों के लिए सरकार लगातार काम कर रही है। सीखो और कमाओ, उस्ताद जैसी कई योजनाओं को आगे बढ़ाया जा रहा है। पहली बार मेहरम के नियम को बदला गया है, इसके तहत अब 45 से ज्यादा उम्र की महिला बिना किसी पुरुष साथी के हज पर जा सकती हैं। 

राष्ट्रपति ने अपने भाषण में कहा कि डिफेंस मैन्यूफैक्चरिंग सेक्टर में स्ट्रेटेजिक पार्टनरशिप से संबंधित नीति को भी अंतिम रूप दे दिया गया है। इससे प्रमुख डिफेंस प्लेटफॉर्म्स और इक्विपमेंट्स के निर्माण में निजी क्षेत्र की अधिक से अधिक भागीदारी और रोजगार सृजन को बढ़ावा मिलेगा।

आतंकवाद के खिलाफ सरकार की प्राथमिकताओं को गिनाते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि जम्मू कश्मीर के अंदरूनी इलाकों में आतंकवादी हिंसा और सीमा पार से होने वाली घुसपैठ सीधे तौर में आपस में जुड़े हैं। हमारी सैन्य क्षमताएं बेहतर तालमेल के साथ इस हिंसा का उपयुक्त जवाब दे रही हैं। हाल ही में सरकार ने पुलिस बलों के आधुनिकीकरण के लिए 18,000 करोड़ रुपये से ज्यादा की योजना को भी मंजूरी दी है।

वहीं, भ्रष्टाचार के खिलाफ भारत सरकार की जारी लड़ाई की चर्चा करते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि मेरी सरकार बैंकिंग व्यवस्था को मजबूत करने और उसमें पारदर्शिता लाने के लिए भी प्रतिबद्ध है। इसके लिए 2 लाख करोड़ रुपये से अधिक के पूंजी निवेश के साथ सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों का री-कैपिटलाइजेशन करने का निर्णय भी किया गया है। भ्रष्टाचार के खिलाफ हमारी लड़ाई जारी है, इसी कड़ी में पिछले एक वर्ष में लगभग 350,000 संदिग्ध कंपनियों का रजिस्ट्रेशन रद्द किया जा चुका है।

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