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गणतंत्र दिवस: ’68 वर्षो में लोकतांत्रिक मूल्यों के कारण मजबूत हुआ है भारतीय गणतंत्र’.

कुरुक्षेत्र/चंडीगढ़, 26 जनवरी= गणतंत्र दिवस के अवसर पर कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय के संगीत एवं नृत्य विभाग की एमफिल की छात्रा नेहा शर्मा व कुलपति डॉ. कैलाश चन्द्र शर्मा ने विश्वविद्यालय प्रांगण में गुरूवार को राष्ट्र ध्वज फहराया तथा एनसीसी कैडेटों की भव्य परेड की सलामी ली। इस मौके पर यूनिवर्सिटी कॉलेज, संगीत एवं नृत्य विभाग व यूनिवर्सिटी सीनियर सैकेंडरी मॉडल स्कूल के विद्यार्थियों ने देशभक्ति भरे गीत गाकर देश के महान शहीदों को याद किया।

गणतंत्र दिवस पर अपने संबोधन में कुलपति ने कहा कि भारत आज दुनिया के अग्रणी देशों में सबसे आगे है। हमारा देश आज ज्ञान विज्ञान के क्षेत्रों में अपना स्थान बना रहा है। भारत ने औद्योगिक, प्रौद्योगिक, शिक्षा सहित विभिन्न क्षेत्रों में नए आयाम स्थापित किए हैं। उन्होंने कहा कि इस वर्ष गणतंत्र दिवस पर संगीत एवं नृत्य विभाग की छात्रा नेहा शर्मा ने मुख्यातिथि के रूप में शिरकत कर गणतंत्र दिवस पर झंडा फहराया है।

यह बेटियों व दिव्यांगों के लिए सम्मान को दर्शाता है।

कुलपति ने कहा कि हमारा 68वां गणतंत्र खुशहाल, मजबूत व समृद्ध भारत के विकास का प्रतीक है। आजाद होने के बाद भारत ने हर क्षेत्र में विकास किया है। ज्ञान, विज्ञान व तकनीक के क्षेत्र में आज हम दुनिया के विकसित देशों को चुनौती दे रहे हैं। भारतीय गणतंत्र को मजबूत बनाने में भारतीय संविधान में निहित लोकतांत्रिक मूल्यों की महत्वपूर्ण भूमिका है। भारत का गौरव आज अंतर्राष्ट्रीय मंचों पर बढ़ा है। भारत अपने स्वर्णिम अतीत के साथ स्वर्णिम भविष्य की ओर आगे बढक़र विश्व गुरू बनने की ओर अग्रसर है।

26 जनवरी 1950 को जब अधिकारिक रूप से भारतीय संविधान को स्वीकार किया गया था, तब एक नए व आधुनिक भारत की नींव रखी गई थी। बाबा साहेब डॉ. भीमराव अम्बेडकर जैसे महापुरूषों के आदर्शो पर चलते हुए हम एक मजबूत लोकतांत्रिक देश के रूप में बनकर उभरे हैं। जिससे भारत की गरिमा दुनिया में बढ़ी है।

कुलपति ने कहा कि 26 जनवरी का दिन भारतीय लोकतंत्र पर गर्व करने का दिन है। देश के विकास के लिए नैतिक चरित्र जरूरी है। इसके लिए युवाओं को आगे बढ़कर देश के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभानी चाहिए। उन्होंने कहा कि देश को आज बाहरी बदलाव की बजाए आंतरिक बदलाव की जरूरत है। एक व्यक्ति के रूप में जब देश का नागरिक मजबूत होगा तभी हम भारत को मजबूत कर सकेंगे। कुलपति ने कहा कि पिछले एक वर्ष में कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय ने विभिन्न क्षेत्रों में महत्वपूर्ण काम किया है। कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय को देश की पहली डिजीटल यूनिवर्सिटी बनाने का निर्णय लिया गया है।

परीक्षा शाखा का ऑटोमेशन किया जा रहा है। विश्वविद्यालय में शिक्षा की गुणवत्ता को बढ़ाने के लिए नए-नए प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने शिक्षकों से अपील की कि वे युवाओं को क्लासरूम के नॉलेज को व्यवहार में लाने के लिए प्रेरित करें। रचनात्मकता व नए प्रयोगों को बढ़ावा दें। ऐसा कर ही हम युवाओं की अपेक्षाओं पर खरे उतर सकते हैँ।

उन्होंने सभी को गणतंत्र दिवस की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि आज प्रत्येक व्यक्ति को अपने स्तर पर देश के लिए कुछ करने की जरूरत है। ऐसा कर ही हम भारत की महान सभ्यता को आने वाली पीढ़ियों के लिए बेहतर बना सकेंगे।

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